KNEWS DESK- भारतीय आमों की मिठास और खुशबू अब सिर्फ देश तक सीमित नहीं रही, बल्कि वह अब खाड़ी देशों के बाजारों और घरों तक भी पहुंच रही है। इसी कड़ी में गुरुवार को अबू धाबी में ‘इंडियन मैंगो मेनिया 2025’ नामक विशेष उत्सव का आयोजन किया गया, जिसका उद्देश्य भारतीय आमों के निर्यात को बढ़ावा देना और खाड़ी देशों में रहने वाले भारतीय समुदाय को देश की आम विरासत से जोड़ना था।
यह कार्यक्रम भारतीय वाणिज्य और उद्योग मंत्रालय के तहत एपीडा (APEDA) और भारतीय दूतावास के संयुक्त सहयोग से लुलु समूह के साथ मिलकर आयोजित किया गया।
इस आयोजन में भारत के अलग-अलग राज्यों से आई आम की खास किस्मों को प्रदर्शित किया गया। इनमें जीआई टैग प्राप्त आम और पारंपरिक किस्में दोनों शामिल थीं:
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उत्तर प्रदेश: दशहरी, चौसा, बनारसी लंगड़ा
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बिहार: भारत भोग, प्रभा शंकर
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पश्चिम बंगाल: मालदा, लक्ष्मण भोग
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मध्य प्रदेश: महमूद बहार, वृंदावनी
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अन्य लोकप्रिय किस्में: आम्रपाली, सुंदरजा, फसली, मल्लिका आदि
भारत के राजदूत संजय सुधीर ने खालिदिया मॉल स्थित लुलु हाइपरमार्केट में इस कार्यक्रम का उद्घाटन किया। इस मौके पर लुलु समूह के चेयरमैन यूसुफ अली, APEDA के उप महाप्रबंधक डॉ. सी.बी. सिंह और अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
राजदूत संजय सुधीर ने कहा, “इस उत्सव के माध्यम से उत्तर प्रदेश, बिहार, बंगाल और पूर्वी भारत के आमों की ताजगी अब खाड़ी के हर घर तक पहुंचेगी। यह केवल स्वाद नहीं, बल्कि भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का प्रतिनिधित्व करता है।”
APEDA के अध्यक्ष अभिषेक देव ने बताया कि एपीडा ने भारतीय आमों को हवाई मार्ग से यूएई तक लाने की पूरी व्यवस्था की। इससे उत्पादकों को नया बाज़ार मिला है और निर्यात के नए द्वार खुले हैं।
इस उत्सव में केवल ताजे आम ही नहीं, बल्कि आम से बने कई पारंपरिक और फ्यूजन व्यंजन भी प्रस्तुत किए गए:
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मिठाइयाँ: मैंगो पेस्ट्री, केक, स्विस रोल
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खास व्यंजन: मांबाझा पायसम, मैंगो पुलाव, मैंगो फिश करी
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स्नैक्स: मैंगो फ्रिटर्स, आम की चाट, रायता
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पेय पदार्थ: आम का जूस, स्मूदी, जैम, जेली
ये व्यंजन न सिर्फ स्वाद में लाजवाब थे, बल्कि उन्होंने भारतीय आम की बहुमुखी प्रतिभा और उपयोगिता को भी दर्शाया।
इस आयोजन से न केवल भारतीय संस्कृति और स्वाद को पहचान मिली, बल्कि यह भारतीय किसानों के लिए अंतरराष्ट्रीय बाजार में नए अवसरों का संकेत भी है। एपीडा की यह पहल भारत को वैश्विक कृषि उत्पाद निर्यात केंद्र बनाने की दिशा में एक अहम कदम है।