Karva Chauth 2024: इस वर्ष करवा चौथ पर भद्रा का साया, ऐसे में कैसे करें व्रत की शुरुआत, आइए जानें इसके उपाय और महत्व…

KNEWS DESK – करवा चौथ हिंदू धर्म का एक महत्वपूर्ण पर्व है, जिसे हर साल कार्तिक माह की कृष्ण पक्ष की चतुर्थी को मनाया जाता है। इस दिन सभी सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र के लिए निर्जला व्रत रखती हैं और करवा माता की पूजा करती हैं। इस साल करवा चौथ 20 अक्टूबर 2024 को मनाया जाएगा, जिसमें भद्रा का साया 21 मिनट तक रहेगा।

Karwa Chauth 2022 Puja Vidhi, Vrat Katha, Vrat Kahani, Mehndi Designs, Moonrise Time, Samagri List, Shubh Muhurat in Hindi LIVE Updates: Read here | Times Now Navbharat

व्रत की शुरुआत कैसे करें

करवा चौथ के दिन व्रत की शुरुआत सरगी खाने से होती है, जो सूर्योदय से लगभग 2 घंटे पहले तक ली जाती है। इस बार भद्रा का साया सुबह 6:25 से 6:46 बजे तक रहेगा। महिलाओं को व्रत की शुरुआत भद्रा के प्रभाव से बचने के लिए माता के 12 नामों का ध्यान करना चाहिए, इन नामों का स्मरण करके महिलाएं व्रत की शुरुआत कर सकती हैं, जिससे भद्रा का प्रभाव कम होगा।

  1. धन्या
  2. महारुद्रा
  3. कुलपुत्रिका
  4. दधीमुखी
  5. खरानना
  6. भैरवी
  7. महाकाली
  8. असुरक्षयकाली
  9. भद्र
  10. महामारी
  11. विष्टि
  12. कालरात्रि

करवा चौथ का व्रत पर पूजा का समय

पंचांग के अनुसार, करवा चौथ का व्रत 20 अक्टूबर को सुबह 6:46 बजे से शुरू होकर 21 अक्टूबर को सुबह 4:16 बजे तक रहेगा। पूजा का शुभ मुहूर्त 20 अक्टूबर को शाम 5:46 बजे से 7:02 बजे तक होगा। इस दौरान करवा माता की विधिपूर्वक पूजा की जा सकती है।

Karwa Chauth Puja Vidhi vrat Thali items

चंद्र दर्शन का समय

करवा चौथ के उपवास में चाँद का निकलना महत्वपूर्ण है। इस वर्ष चाँद निकलने का समय शाम 7:44 बजे है, और पूजा का पारण 7:53 बजे के बाद किया जा सकता है।

Karwa Chauth 2021 : कब है करवाचौथ व्रत, जानें चंद्रोदय का समय और छलनी से चांद देखने की वजह | Karwa chauth 2021 chand timing and the reason why ladies see moon from chalni

करवा चौथ का महत्व

करवा चौथ का व्रत मुख्य रूप से उत्तर भारत में मनाया जाता है, खासकर उत्तर प्रदेश, राजस्थान, पंजाब, हरियाणा, मध्य प्रदेश और हिमाचल प्रदेश में। इस व्रत के द्वारा पति की लंबी उम्र और स्वास्थ्य की कामना की जाती है। इसके साथ ही, यह परिवार में खुशियों और समृद्धि का संचार करता है, और वैवाहिक जीवन में आने वाली बाधाओं को समाप्त करने का कार्य करता है।

About Post Author

Leave a Reply

Your email address will not be published.