मालविका बंसोड़ महाराष्ट्र की रहने वाली है और वह अंडर-13 और अंडर-17 लेवल पर स्टेट चैंपियनशिप जीत चुकी हैं. मालविका बंसोड़ सबसे पहले तब चर्चा में आई थी जब उन्होंने मात्र 20 साल की उम्र में भारत की दिग्गज बैडमिंटन खिलाड़ी साइना नेहवाल (Saina Nehwal) को हराया था. पीवी सिंधु (PV Sindhu) के बाद मालविका बंसोड़ ऐसी दूसरी भारतीय है, जिसने साइना नेहवाल को घरेलू और अंतरराष्ट्रीय बैडमिंटन सर्किट में कोर्ट पर हराया हो.
मालविका बंसोड़ के पिता डॉ. प्रबोध बेटी की सफलता से खुश हैं। महज 20 वर्ष की मालविका ने अपनी आदर्श साइना नेहवाल को हराया है। यह वही साइना नेहवाल हैं, जिनसे दुनिया की दिग्गज शटलर खौफ खाती हैं। मालविका ने पूर्व चैंपियन और 2012 ओलिंपिक ब्रॉन्ज मेडल विजेता साइना को 21-17, 21-9 से हराते हुए टूर्नामेंट के महिला सिंगल्स के क्वॉर्टर फाइनल में प्रवेश कर लिया है। विश्व रैंकिंग में 111वें स्थान पर काबिज बंसोड़ को दुनिया की पूर्व नंबर एक खिलाड़ी को हराने में 34 मिनट लगे।
जिन्हें माना आर्दश उन्हीं को हाराना बड़े सपने से कम नहीं
दरअसल, साइना को पटकनी देकर ऐतिहास रचने वाली मालविका बनसोड मूल रुप से महाराष्ट्र के नागपुर शहर की रहने वाली हैं। वह बैडमिंटन की एक उभरती हुई स्टार हैं। नेहवाल को हराने के बाद उन्होंने कहा-मैं बचपन से ही उन्हें देखकर ही बैडमिंटन खेलना सीखी हूं। वो मेरी आर्दश हैं, उन्हें हराना मेरे लिए किसी बड़े सपने से कम नहीं है।
कई खिताब जीत चुकी है नागपुर की ये लड़की
मालविका अंडर-13 और अंडर-17 लेवल पर स्टेट चैंपियनशिप जीत चुकी हैं। वह 2018 में वे वर्ल्ड जूनियर बैडमिंटन टूर्नामेंट के लिए भारतीय टीम में चयनित हुई हं। इतनाा ही नहीं वो 2018 में काडमांडू में साउथ एशियन बैडमिंटन चैंपियनशिप में जीत हासिल कर चुकी हैं। दो साल पहले 2019 में उन्होंने ऑल इंडिया सीनियर रैंकिंग टूर्नामेंट जीता। इसी वर्ष 2019 में ही मालविका ने मालदीव्स इंटरनेशनल फ्यूचर सीरीज टूर्नामेंट का खिताब जीता था।