बागेश्वर| उत्तराखंड के बागेश्वर जिला मुख्यालय के नजदीक जोशीगांव में एक मकान से एक माँ और उसके तीन बच्चों के सड़े-गले शव मिले है। मृतकों में से एक 5-6 महीने का बच्चा भी है। जब से इस घटना के बारे में पता लगा है तो पूरे इलाके में सनसनी फैल गई है। घर के दरवाजे अंदर से बंद होने के कारण पुलिस इस मामले को खुदकुशी मान रही है। बृहस्पतिवार शाम पुलिस को जिला मुख्यालय से साढ़े चार किमी दूर जोशी गांव में एक मकान से बदबू आने और अंदर से दरवाजे बंद होने की सूचना मिली थी। एसपी हिमांशु कुमार वर्मा, एसडीएम हर गिरी, सीओ अंकित कंडारी, कोतवाल कैलाश सिंह नेगी दल-बल के साथ जोशी गांव पहुंच गए। पुलिस ने जब सारे मामले की पड़ताल की तो पता चला की इस घर में कपकोट के भनार गांव के मूल निवासी भूपाल राम का परिवार रहता था। घर में भूपाल राम की पत्नी नीमा देवी (40), पुत्री अंजली(14), पुत्र (8) और पुत्र भाष्कर (5-6 माह) के शव होने की पुष्टि हुई है। बड़ी बेटी की शादी हो गई है। पुलिस ने चारों शवों का पंचनामा कर पोस्टमार्टम के लिए जिला अस्पताल की मोर्चरी में भेज दिए है। सीओ अंकित कंडारी का कहना है कि शवों के शरीर पर किसी भी प्रकार के कोई भी चोट के निशान नहीं है। यह भी आशंका जताई जा रही है की शव काफी दिन पुराने है और भूपाल राम काफी महीनों से लापता बताया जा रहा है। स्थानीय लोगों का कहना है की भूपाल राम लकड़ी के बर्तनों के साथ ही ढोल, दमाऊ बनाने का काम करता था। भूपाल काफी समय से घर से लापता भी था।
भूपाल के खिलाफ हुआ केस दर्ज
पुलिस के यह भी कहना है की भूपाल राम के खिलाफ बागेश्वर कोतवाली में धोखाधड़ी का केस भी दर्ज था। गिरफ्तारी के डर से वह आए दिन घर से फरार रहता था। यह भी पता चला है की है कि पुलिस से बचकर कभी-कभार अपने घर में उसका आना-जाना भी था। पुलिस काफी लंबे समय से उसकी तलाश कर रही है और पुलिस का कहना है की भूपाल एक धोखेबाज व्यक्ति है और उसने काफी लोगों से ठगी भी है इसलिए वह पुलिस और लोगों से छिपता है अभी भी वह फरार है। पुलिस के अनुसार पोस्टमार्टम होने के बाद मौत के कारण का पता चल सकता है।