देहरादून, विपक्ष के हंगामें के बाद आखिरकार आज मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने विपक्षी दलों के विधायकों के साथ विकास कार्यों की समीक्षा की…मुख्यमंत्री ने विधानसभा क्षेत्र यमुनोत्री, बद्रीनाथ, प्रतापनगर, चकराता, ज्वालापुर, भगवानपुर, झबरेड़ा, पिरान कलियर, मंगलौर, लक्सर, खानपुर एवं हरिद्वार ग्रामीण में चल रही व लम्बित कार्यों एवं विकासपरक योजनाओं की समीक्षा की….बैठक में सभी विपक्षी दलों के विधायकों ने शिरकत की….कांग्रेस विधायक प्रीतम सिंह, राजेंद्र भंडारी, अनुपमा रावत समेत तमाम अन्य विधायक मौजूद रहे….विपक्षी दलों के विधायकों के साथ हुई इस बैठक पर राज्य में सियासत भी गरमा गई है। कांग्रेस का आरोप है कि विपक्ष के विधायकों के दबाव में सीएम ने विपक्ष के विधायकों के साथ बैठक की…. साथ ही विपक्ष ने सवाल उठाए है कि मुख्यमंत्री ने एकसाथ सभी की समीक्षा बैठक क्यों नहीं की… विपक्ष की अलग से बैठक बुलाना इससे साफ है कि मुख्यमंत्री भेद भाव की राजनीति कर रहे हैं।
-2024 के लोकसभा चुनाव और 2023 में होने वाले निकाय चुनाव से पहले सरकार पर विकास कार्यों को पूरा कराने का दबाव है जिसके तहत मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी लगातार विधानसभा वार राज्य की सभी विधानसभाओं की समीक्षा कर रहे हैँ। इसके तहत विधानसभाओं में चल रही व लम्बित कार्यों एवं विकासपरक योजनाओं की समीक्षा की गई मुख्यमंत्री धामी ने बैठक में अधिकारियों को योजनाओं में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं। वहीं विपक्षी दलों के विधायकों के साथ हुई इस बैठक पर राज्य में सियासत भी गरमा गई है। कांग्रेस का आरोप है कि विपक्ष के विधायकों के दबाव में सीएम ने विपक्ष के विधायकों के साथ बैठक की…. साथ ही विपक्ष ने सवाल उठाए है कि मुख्यमंत्री ने एकसाथ सभी की समीक्षा बैठक क्यों नहीं की… विपक्ष की अलग से बैठक बुलाना इससे साफ है कि मुख्यमंत्री भेद भाव की राजनीति कर रहे हैं। वहीं सत्तापक्ष ने विपक्ष के आरोपों को सीरे से खारिज किया है।
आपको बता दें कि मुख्यमंत्री ने विधानसभा क्षेत्र यमुनोत्री, बद्रीनाथ, प्रतापनगर, चकराता, ज्वालापुर, भगवानपुर, झबरेड़ा, पिरान कलियर, मंगलौर, लक्सर, खानपुर एवं हरिद्वार ग्रामीण में चल रही व लम्बित कार्यों एवं विकासपरक योजनाओं की समीक्षा की….बैठक में सभी विपक्षी दलों के विधायकों ने शिरकत की….वहीं इस मामले में आम आदमी पार्टी का आरोप है कि बीजेपी कांग्रेस दोनों दल मिलकर राज्य की जनता को धोखा दे रहे हैँ। धरातल पर कोई विकास कार्य नहीं हो रहे हैँ। वहीं यूकेडी ने मुख्यमंत्री की इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री को पहले ही विपक्षी दलों के साथ बैठक करनी चाहिए थी
कुल मिलाकर चुनाव से पहले सरकार पर जनता तक विकास कार्यों को पहुंचाने का दबाव है….यही वजह है कि सीएम धामी लगातार हर एक विधानसभा की समीक्षा कर रहे हैं लेकिन सवाल ये है कि क्या इस समीक्षा का असर धरातल पर भी देखने को मिलेगा…..क्या विपक्षी दलों के साथ आज हुई बैठक पहले नहीं की जा सकती थी…..क्या मुख्यमंत्री की सख्ती के बाद विकास कार्यों में तेजी आएगी या नहीं