जोशीमठ, जोशीमठ में हो रहे भू धसाव से हुए नुक्सान का आकलन कर लिया गया है। जोशीमठ में वहां रह रहे लोगों को घरों में दरारों के चलते अपने घरों को छोड़ना पड़ा है। जिससे वहां का जन जीवन बुरी तरह प्रभावित हुआ है। इसको लेकर सरकार ने जिला प्रशासन को वहां के हालातों का जायजा कर वहां हुए नुक्सान का आंकलन कर रिपोर्ट बनाने के निर्देश दिए थे। जिससे वहां के लोगों को राहत पहुंचाई जा सके। जिसके बाद जिला प्रशासन इस कार्य में जुट गया। अब ब्यौरा तैयार कर लिया गया है। जिसे लेकर शासन स्तर पर गठित उच्चाधिकार प्राप्त समिति सोमवार को बैठक में इसे रखेगी।
भवनों की क्षति का आंकलन
हालांकि जोशीमठ में हो रहे भू धसाव कोई अचानक नहीं हुआ। पहले भी कई बार इस क्षेत्र को लेकर यहां के लोगों द्वारा यह बात उठाई जा चुकी है। इसके पीछे कई कारण भी सामने आये हैं। लेकिन इसने आपदा का रूप तब लिया जब इस माह की शुरुआत में घरों में दरारें पड़ने लगीं। और दिन प्रतिदिन दरारों के बढ़ने का सिलसिला जारी रहा। जिससे भवनों की छत तक ढहने लगी। 863 घर ऐसे पाए गए जिसमें दरारें देखने को मिली। जिसके बाद परिवारों को विस्थापित कर भवनों को हुए नुक्सान का सर्वे का कार्य शुरु किया गया। इसके लेकर आपदा प्रबंधन सचिव डा रंजीत सिन्हा ने बताया कि बैठक में सीबी आर आई के आँकालन का प्रस्तुतीकरण किया जायेगा। साथ ही जाँच कार्यों को रिपोर्ट के साथ ही डी एम द्वारा निर्धारित मुआवजे पर भी विचार किया जायेगा।