देहरादून। उत्तराखंड लोक सेवा आयोग ने महिला अभ्यर्थियों को झटका दिया है। खबर उन महिलाओं के लिए है। जिन्होने उत्तराखंड लोक सेवा आयोग की पीसीएस परीक्षा में हिस्सा लिया था। और उनका प्रारंभिक परीक्षा के लिए चयन भी हुआ था।
अब दूसरे राज्यों की महिलाएं आयोग द्वारा आयोजित होने वाली मुख्य परीक्षा में हिस्सा नहीं लें सकेंगी, जिसका कारण है कि आयोग द्वारा दूसरे राज्यों की 2607 महिला अभ्यर्थियों के परीक्षा परिणाम निरस्त कर दिये है।
जिसके पीछे कारण बताया जा रहा है कि राज्य सरकार ने राज्य की महिलाओं के लिए क्षैतिज आरक्षण की अधिसूचना जारी कर दी है। जिसके बाद अब बाहरी राज्यों की महिला अभ्यर्थी 23 से 26 फरवरी के बीच होने वाली मुख्य परीक्षा में हिस्सा नहीं ले सकेगी।
आपको बताए की पहले आयोग द्वारा हाईकोर्ट के आदेश पर क्षैतिज आरक्षण के तहत सभी राज्यों की महिला अभ्यर्थियों को सम्मिलित कर 22 सितंबर और 19 अक्टूबर 2022 की पीसीएस प्रारंभिक परीक्षा का परिणाम जारी किया था। जिसके बाद दूसरे राज्यों की महिलाओं के लिए परीक्षा में हिस्सा लेने का रास्ता साफ हो गया था।
इस बीच सोमवार को आयोग के सचिव गिरधर सिंह रावत की ओर उत्तराखंड की महिलाओं के आरक्षण देते हुए प्रारंभिक परीक्षा का संशोधित परिणाम जारी किया गया है। वही आयोग के सचिव ने बताया की जो अभ्यर्थी राज्य के अधिवसी नही है। उनका परिणाम निरस्त कर दिया गया है।
कुछ जानकारी पदों के बारे में जान लीजिए जिनका परीक्षा परिणाम निरस्त कर दिया गया था। आंकड़ों के अनुसार समेकित पदों में 1908 सहायक श्रमायुक्त में छह,उप निबंधक श्रेणी-2 में 34,सूचना अधिकार में जिला सूचना अधिकारी में 6 उप शिक्षा अधिकारी स्टाफ आफिसर एवं विधि अधिकारी में 571 सहायक निदेशक मत्स्य में 4 और बाल विकास परियोजना अधिकारी श्रेणी में 78 पदों का परिणाम रद्द किया गया है।