KNEWS DESK- हरिद्वार में नगर-निगम की करोड़ों की ज़मीन घोटाले पर एक्शन मोड में मुख्यमंत्री पुष्कर धामी ने सीधे चार अफसरों को सस्पेंड कर दिया। नगर निगम में 54 करोड़ के इस खेल का कच्चा चिट्ठा खुलते ही बीजेपी नेता विशाल गर्ग ने कहा कि हरिद्वार की पवित्र धरती पर भ्रष्टाचार नहीं चलेगा। हरिद्वार नगर निगम में सराय की ज़मीन खरीद में हुए करोड़ों के घोटाले पर अब गाज गिरी है और गाज इतनी तेज गिरी कि चार बड़े अफसरों की कुर्सी चली गई। निलंबित हुए अधिकारियों में सहायक नगर आयुक्त रविंद्र कुमार दयाल, अधिशासी अभियंता आनंद सिंह मिश्रवाण, कर व राजस्व अधीक्षक लक्ष्मीकांत भट्ट और अवर अभियंता दिनेश चंद्र कांडपाल हैं। इन अधिकारियों को सस्पेंड करते हुए वरिष्ठ वित्त अधिकारी निकिता बिष्ट को कारण बताओ नोटिस थमा दिया गया है। भाजपा नेता विशाल गर्ग ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने साबित कर दिया कि वो जीरो टॉलरेंस पर सिर्फ बोलते नहीं, करके दिखाते हैं। विशाल गर्ग ने साफ कहा अब हरिद्वार में भ्रष्टाचारियों की खैर नहीं।ये घोटाला उस वक़्त का है जब निगम प्रशासक के ज़िम्मे था और नियमों को दरकिनार कर 15 करोड़ की कृषि भूमि को 54 करोड़ में खरीद लिया गया।
ये है पूरा मामला की मुख्य बातें
- भूमि का लैंड यूज अक्टूबर 2024 में एसडीएम द्वारा कृषि से बदलकर औद्योगिक कर दिया गया, जिससे जमीन की कीमत 15 करोड़ से बढ़ाकर 54 करोड़ रुपये तक पहुंच गई।
- नगर निगम ने बिना पारदर्शी बोली प्रक्रिया और शासन की अनुमति के यह खरीददारी की।
- जमीन का उपयोग कूड़ा निस्तारण के लिए किया जाना शर्तों का उल्लंघन है।
- इस पूरे मामले में बड़े अधिकारियों पर अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है, जिससे उच्चस्तरीय संरक्षण की आशंका जताई जा रही है।