रामलला के बाद, बिछ रही चुनावी बिसात !

उत्तराखंड डेस्क रिपोर्ट, लोकसभा चुनाव को जीतने के लिए उत्तराखंड में चुनावी बिसात बिछने लगी है….भाजपा, कांग्रेस समेत तमाम दल इस दंगल को जीतने का दावा कर रहे हैं। वहीं भाजपा ने अभी से अपने चुनावी अभियान को तेज कर दिया है। भाजपा की चुनावी तैयारियों को धार देने के लिए केंद्र और राज्य सरकार का भी भरपूर सहयोग मिल रहा है। इसी के तहत धामी सरकार ने अयोध्या में श्री राम मूर्ति प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के मद्देजर उत्तराखंड में 14 जनवरी से 22 जनवरी तक राज्य में भव्य सांस्कृतिक कार्यक्रम किए जाने का फैसला लिया है..सचिव एचसी सेमवाल ने आदेश जारी करते हुए अधिकारियों को निर्देश दिए है कि पूरे प्रदेश में सांस्कृतिक उत्सव मनाया जाएगा। आम जनमानस की सहभागिता से कलश यात्रा और झांकियों का आयोजन किया जाएगा..वहीं उत्तराखंड भाजपा ने इन्ही तैयारियों के बीच अपने बड़े नेताओं की रैलियों के कार्यक्रम भी तय करने शुरू कर दिए हैं। लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने से पहले उत्तराखंड में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तीन रैलियां होंगी। साथ ही एक दर्जन अन्य नेताओं के कार्यक्रम भी तय किए जा रहे हैं। माना जा रहा है कि जनवरी अंत से उत्तराखंड में पार्टी के शीर्ष नेताओं की जनसभाएं शुरू कर दी जाएंगी। फिलहाल करीब 16 रैलियां करने का निर्णय लिया गया है। इसमें तीन रैलियां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की होंगी जबकि 13 अन्य रैलियों में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह, रक्षामंत्री राजनाथ सिंह, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सहित अन्य बड़े नेता जनता को संबोधित करेंगे। पार्टी नेताओं का कहना है कि इन रैलियों के जरिए भाजपा आचार संहिता लगने से पहले पार्टी के पक्ष में माहौल बनाएगी। वहीं विपक्षी दलों का कहना है कि जनता अब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की बातो में नहीं आने वाली है…वहीं कांग्रेस समेत तमाम विपक्षी दल सरकार की घेराबंदी की तैयारी में लगे हुए है। इसी के तहत कांग्रेस जहां अंकिता मामले में न्याय यात्रा निकालेगी तो दूसरी तरफ बेरोजगारी, महंगाई, गन्ना किसान और कर्मचारियों समेत विभिन्न मुद्दों को लेकर विपक्ष सरकार की घेराबंदी की तैयारी कर रहा है।

 

उत्तराखंड में शीतलहर के बावजूद राज्य की राजनीति का सियासी पारा हाई है। एक तरफ जहां उत्तराखंड की पांचों लोकसभा सीटों में हैट्रिक लगाने की भाजपा की तैयारी है तो दूसरी ओर विपक्षी दल भी एकजुटता और जनहित के मुद्दो के सहारे बीजेपी के रथ को रोकने की तैयारी कर रहा है। उत्तराखंड कांग्रेस ने जहां पार्टी नेता राहुल गांधी की मणिपुर, इंफाल से शुरू होने वाली भारत जोड़ो न्याय यात्रा के समकक्ष उत्तराखंड में भी 14 से 16 जनवरी तक अंकिता भंडारी न्याय यात्रा निकालने का फैसला लिया है…इसके अलावा बेरोजगारी, महंगाई समेत तमाम मुद्दों को लेकर विपक्षी दल सरकार की घेराबंदी करेंगे…वहीं उत्तराखंड में भाजपा ने राज्य की हर लोकसभा सीट को पांच लाख मतों के अंतर से जीतने का लक्ष्य रखा है….इसी लक्ष्य को हांसिल करने के लिए पार्टी ने आचार संहिता लागू होने से पहले उत्तराखंड में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तीन रैलियां कराने के साथ ही एक दर्जन अन्य नेताओं के कार्यक्रम भी तय किए जा रहे हैं…

वहीं उत्तराखंड में भाजपा की तैयारियों के बीच प्रदेश के माहौल राममय करने के लिए संगठन के साथ ही सरकार ने भी तैयारी शुरू कर दी है। इसी के तहत धामी सरकार ने अयोध्या में श्री राम मूर्ति प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के मद्देजर उत्तराखंड में 14 जनवरी से 22 जनवरी तक राज्य में भव्य सांस्कृतिक कार्यक्रम किए जाने का फैसला लिया है..सचिव एचसी सेमवाल ने आदेश जारी करते हुए अधिकारियों को निर्देश दिए है कि पूरे प्रदेश में सांस्कृतिक उत्सव मनाया जाएगा। आम जनमानस की सहभागिता से कलश यात्रा और झांकियों का आयोजन किया जाएगा…इसके साथ ही प्रदेश की सभी मठ, मंदिर, देवालय और नदी किनारे स्थित स्नान घाटों पर विशेष स्वच्छता अभियान भी चलाया जाएगा….वहीं विपक्ष का आरोप है कि सरकार राम के नाम पर राजनीति कर रही है

कुल मिलाकर लोकसभा चुनाव के लिए अब समय बेहद कम है यही वजह है कि तमाम राजनीतिक दलों की तैयारी तेज हो गई है। हांलाकि इन तैयारियों में भाजपा सभी विपक्षी दलों को पीछे छोड़ चुकी है। वहीं भाजपा ने विपक्ष के मजबूत बूथों पर भी सेंधमारी की योजना बनाई है…साथ ही जीत के लक्ष्य को भी बढ़ा दिया है..वहीं इस लक्ष्य को हांसिल करने के लिए प्रधानमंत्री समेत तमाम दिग्गज नेताओं की चुनावी रैलियां भी कराने की तैयारी की जा रही है सवाल ये है कि क्या भाजपा की ये तैयारी एक बार फिर विपक्षी दलों पर भारी पडेगी या विपक्ष की एकजुटता भाजपा पर भारी पडेगी

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