KNEWS DESK- संसद के दोनों सदनों से महिला आरक्षण बिल पारित होने पर बसपा अध्यक्ष मायावती ने इसका स्वागत कर इस पर अपनी राय दी| साथ ही उन्होंने अपने एक्स अकाउंट के जरिए इस पर एतराज भी जाहिर किया|
बसपा प्रमुख मायावती ने अपने ऑफिशियल एक्स पर ट्विट किया कि महिला आरक्षण बिल संसद के दोनों सदनों से पारित हो जाने का स्वागत, किन्तु देश इसका भरपूर व जोरदार स्वागत करता अगर उनकी अपेक्षाओं के मुताबिक यह अविलम्ब लागू हो जाता| अब तक लगभग 27 वर्षों की लम्बी प्रतीक्षा के बाद अनिश्चितता का अब आगे और लम्बा इंतजार करना कितना न्यायसंगत?
1. महिला आरक्षण बिल संसद के दोनों सदनों से पारित हो जाने का स्वागत, किन्तु देश इसका भरपूर व जोरदार स्वागत करता अगर उनकी अपेक्षाओं के मुताबिक यह अविलम्ब लागू हो जाता। अब तक लगभग 27 वर्षों की लम्बी प्रतीक्षा के बाद अनिश्चितता का अब आगे और लम्बा इंतजार करना कितना न्यायसंगत?
— Mayawati (@Mayawati) September 22, 2023
साथ ही मायावती ने महिला आरक्षण बिल पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए अपने अगले पोस्ट में लिखा वैसे देश की आबादी के बहुसंख्यक ओबीसी समाज की महिलाओं को आरक्षण में शामिल नहीं करना बहुजन समाज के उस बड़े वर्ग को न्याय से वंचित रखना है| इसी प्रकार एससी व एसटी समाज की महिलाओं को अलग से आरक्षण नहीं देना भी उतना ही अनुचित व सामाजिक न्याय की मान्यता को नकारना है|
2. वैसे देश की आबादी के बहुसंख्यक ओबीसी समाज की महिलाओं को आरक्षण में शामिल नहीं करना बहुजन समाज के उस बड़े वर्ग को न्याय से वंचित रखना है। इसी प्रकार एससी व एसटी समाज की महिलाओं को अलग से आरक्षण नहीं देना भी उतना ही अनुचित व सामाजिक न्याय की मान्यता को नकारना है।
— Mayawati (@Mayawati) September 22, 2023
बसपा प्रमुख ने अंतिम पोस्ट में लिखा- किन्तु जहां चाह है वहां राह है और इसीलिए सरकार ओबीसी समाज को इस महिला आरक्षण बिल में शामिल करे, एससी व एसटी वर्ग की महिलाओं को अलग से आरक्षण दे और इस विधेयक को तत्काल प्रभाव से लागू करने के सभी जरूरी उपाय करे| धार्मिक अल्पसंख्यक समाज की महिलाओं की भी उपेक्षा अनुचित|
3. किन्तु जहाँ चाह है वहाँ राह है और इसीलिए सरकार ओबीसी समाज को इस महिला आरक्षण बिल में शामिल करे, एससी व एसटी वर्ग की महिलाओं को अलग से आरक्षण दे तथा इस विधेयक को तत्काल प्रभाव से लागू करने के सभी जरूरी उपाय करे। धार्मिक अल्पसंख्यक समाज की महिलाओं कीे भी उपेक्षा अनुचित।
— Mayawati (@Mayawati) September 22, 2023