डिजिटल डेस्क- बिहार के मोकामा विधानसभा क्षेत्र से गुरुवार शाम एक दिल दहला देने वाली खबर सामने आई है। राष्ट्रीय जनता दल (RJD) प्रमुख लालू प्रसाद यादव के बेहद करीबी रहे दुलारचंद यादव की चुनाव प्रचार के दौरान गोली मारकर हत्या कर दी गई। यह वारदात मोकामा के घोसवरी थाना क्षेत्र स्थित बसावन चक गांव में हुई, जब दुलारचंद जन सुराज पार्टी के उम्मीदवार पीयूष प्रियदर्शी उर्फ लल्लू मुखिया के समर्थन में प्रचार कर रहे थे।
प्रचार के दौरान गोलियों की तड़तड़ाहट से मचा हड़कंप
गुरुवार शाम करीब छह बजे दुलारचंद यादव अपने समर्थकों के साथ गांव में जनसंपर्क कर रहे थे। तभी पहले से घात लगाए बदमाशों ने उन पर अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी। चश्मदीदों के मुताबिक, हमलावरों ने करीब 6 से 7 राउंड गोलियां चलाईं, जिनमें से एक गोली सीधे दुलारचंद यादव को लगी। गोली लगते ही वह मौके पर गिर पड़े। इसके बाद हमलावरों ने अपनी कार से उन्हें कुचल दिया और फरार हो गए। घटनास्थल पर ही उनकी मौत हो गई।
काफिले पर पहले भी हुआ था हमला
स्थानीय सूत्रों का कहना है कि इससे पहले पीयूष प्रियदर्शी के काफिले पर भी हमला किया गया था। बताया जा रहा है कि यह हमला सुनियोजित था। दुलारचंद यादव की गाड़ी पर गोलियों के कई निशान पाए गए हैं। हमले के बाद पूरे क्षेत्र में अफरा-तफरी मच गई और लोग अपनी जान बचाने के लिए इधर-उधर भागने लगे।
इलाके में तनाव, भारी पुलिस बल तैनात
घटना की जानकारी मिलते ही पटना एएसपी, डीएसपी समेत कई थानों की पुलिस मौके पर पहुंची। इलाके में भारी पुलिस बल तैनात किया गया है। फिलहाल स्थिति तनावपूर्ण है, लेकिन नियंत्रण में बताई जा रही है। पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है और जांच शुरू कर दी है।
राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप शुरू
इस हत्या को लेकर राजनीतिक सरगर्मी बढ़ गई है। मृतक के परिजनों और समर्थकों ने जनसुराज उम्मीदवार पीयूष प्रियदर्शी के काफिले पर हमला करने और दुलारचंद की हत्या करवाने का आरोप जदयू उम्मीदवार अनंत सिंह के समर्थकों पर लगाया है। हालांकि पुलिस ने अभी तक इस मामले में किसी की गिरफ्तारी की पुष्टि नहीं की है।
लालू के पुराने सहयोगी थे दुलारचंद यादव
दुलारचंद यादव का नाम मोकामा टाल क्षेत्र के प्रभावशाली नेताओं में गिना जाता था। वे एक समय में लालू प्रसाद यादव के सबसे भरोसेमंद लोगों में शामिल थे, लेकिन हाल के वर्षों में उन्होंने प्रशांत किशोर की पार्टी जनसुराज के साथ जुड़कर अपने भतीजे पीयूष प्रियदर्शी के समर्थन में प्रचार करना शुरू कर दिया था।