फूलदेई के त्योहार में सजी हर घर की दहलीज

उत्तराखंड| फूलदेई के त्योहार को लेकर आज देवभूमि में आज उत्सव मनाया जा रहा है। गांव से लेकर शहर तक फूलदेई को लेकर कार्यक्रमों का आयोजन किया गया है। उत्तराखंड में गांव से शहर तक के बच्चों में आज खासा उत्साह देखने को मिल रहा है। ढोल-दमाऊ व अन्य वाद्य यंत्रों के साथ आज भव्य शोभा यात्रा भी निकाली गई। इसमें बच्चे सुबह-सवेरे फूल लेकर लोगों की दहलीज पर रखते हैं और सभी के सुख-समृद्धि की कामना भी करते है। वसंत ऋतु के आगमन को लेकर उत्तराखंड का प्रसिद्ध लोक पर्व फूलदेई मनाया जा रहा है। यह उत्तराखंड का लोक पर्व त्योहार है। चैत्र मास की प्रथम तिथि को ही फूलदेई पर्व मनाया जाने लगता है। फूलदेई त्योहार को फुलारी, फूल संक्रांति भी कहा जाता है और साथ ही यह पर्व प्रकृति से जुड़ा हुआ है। इन दिनों पहाड़ों में जंगली फूलों की बहार आ जाती है जोकि बहुत ही सुंदर दिखाई देती है। फूलदेई पर भराड़ीसैंण स्थित विधानसभा भवन में भी लोक संस्कृति दिखाई दी। फूलदेई के अवसर पर क्षेत्र के बच्चों ने पारंपरिक मांगल गीत गाते हुए साथ-साथ रंग-बिरंगे फूल भी बरसाए। विधान सभा अध्यक्ष के साथ कैबिनेट मंत्रियों एवं विधायकों ने बच्चों से मिलकर कर अपनी परंपरा से जुड़े रहने के लिए भी कहा।

बच्चों के साथ विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी, कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज, डाॅ. धन सिंह रावत, सौरभ बहुगुणा, डाॅ. प्रेमचंद अग्रवाल, विधायक अनिल नौटियाल आदि ने बच्चों से मिले और सबको बधाई भी दी।

विधान सभा अध्यक्ष के साथ सभी ने इस पावन पर्व की बधाई देते हुए कहा कि ये पर्व हमें प्रकृति से जुड़ने और उसके संरक्षण का और पर्यावरण को सुरक्षित रेखने का संदेश देते हैं।

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