ज्ञानेश कुमार- एटा से 15 किमी दूर निधौली कलां जहां बीती 1 अगस्त की रात्रि में एक 17 वर्षीय किशोर की पुलिस हिरासत से छूटने के बाद मौत हो गई। हत्या का आरोप 2 सब इंस्पेक्टर समेत तीन सिपाहियों पर लगा। इसके बाद पुलिस ने पुलिस कर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी। इस पूरी घटना के बाद K NEWS INDIA की टीम एटा जिला मुख्यालय से 15 किमी दूर मृतक किशोर सत्यवीर के गांव चंद्रभान पर उर्फ खरेटी पहुंची। यहां परिवार में मातम फैला हुआ था, रिश्तेदार नेताओं का आना-जाना लगा हुआ है।
भाई का आरोप- 50 हजार लेकर अधमरा लौटाया, घर आकर निकली जान
घर में गमगीन माहौल के बीच मृतक सत्यवीर का भाई योगेन्द्र के साथ आया हुआ था। एक अगस्त की सुबह पूंछताछ के लिए पुलिस के पास सत्यवीर को योगेंद्र ले गया था। जिसके बाद हमने योगेंद्र से बात की। आंखों से छलकते आंसू, रूंदे हुए गले से योगेंद्र बताते हैं कि मैंने मानपाल सिंह (प्रधान) के कहने पर हम उनके घर पर सुबह लगभग 9.20 मिनट पर प्रधान मानपाल सिंह के घर पर बातचीत करने के लिए पहुंचे। बातचीत होने के बाद में हम सुबह करीब 10:00 बजे कोतवाली निधौली कला में भाई को लेकर गए। जब हम थाने में सत्यवीर को लेकर गए उसी समय हमारे साथ में मेरा एक दोस्त अवनीश भी साथ था। पुलिस ने मुझे और मेरे दोस्त अवनीश को डांटते हुए थाने से भगा दिया इसके बाद में हम घर चले आए।

वकील को साथ लेकर फिर पहुंचा थाने
दोपहर 1:00 बजे वकील से मेरी बात हुई। इसके बाद शाम 5:00 बजे मैं और वकील साहब थाने में पहुंचे। इसके बाद मेरे भाई सतवीर को वहां से करीब 6:30 बजे छोड़ दिया गया, लेकिन पुलिस ने मुझे कहीं पर कोई भी साइन नहीं कराए थे। हम करीब शाम 7:00 बजे अपने भाई सत्यवीर के साथ थाना निधौली कला से अपने घर पहुंचे। घर जाकर भाई दूसरे घर में खाट पर लेट गया इसके बाद जब सुबह देखा तो उसकी सांस नहीं चल रही थी। मृतक सत्यवीर की मां ने बताया पुलिस के दरोगा सुरेन्द्र ने बेटे को छोड़ने के लिए 50 हजार रुपए की मांग की थी। हम लोगों ने पुलिस को 50 हजार रुपए गिन कर के दिए थे। जिसके बाद पुलिस ने छोड़ा था।

पुलिस के द्वारा जारी किए सीसीटीवी फुटेज
हालांकि एटा के थाना निधौली कलां के तीन सीसीटीवी फुटेज वायरल हो गए। जिनमें सुबह 10 बजे मृतक सत्यवीर उसका भाई योगेन्द्र और अवनीश उसके साथ थाने में घुसते हुए दिखाई दे रहे है। शाम 6 बजकर 58 मिनट पर योगेंद्र और सत्यवीर बाहर निकलता हुआ दिखाई दे रहा है। हालांकि पुलिस ने एक स्कूल का रजिस्टर का फोटो भी सोशल मीडिया पर वायरल किया है। जिसमें सत्यवीर की जन्मतिथि 2007 दिखाई है। हालांकि ये रजिस्टर किस स्कूल का है इसकी जानकारी नहीं हो पाई है।

अब जानिए मार्च में गायब हुई लड़की के बारे में
मृतक सत्यवीर के गांव से करीब 500 मीटर की दूरी पर एक गांव की एक दलित लड़की की गुमशुदगी 17 मार्च 2025 को दर्ज हुई थी। जिसकी जांच पुलिस कर रही थी। हालांकि पुलिस अभी तक लड़की को बरामद नहीं कर पाई है।
गायब हुई लड़की को बरामद करने के लिए कितने लोगों से की पुलिस ने पूछताछ
गांव के रहने वाली राजकुमारी का कहना है पुलिस ने मेरे पति को कुछ दिन पहले पूंछताछ के लिए उठाया था। जिसके बाद पुलिस ने 50 हजार रुपए लेकर छोड़ दिया था। पुलिस मानपाल प्रधान के इशारे पर लोगों को गांव से उठाती थी। उसके बाद छोड़ देती है। गांव की रहने वाली मंजू देवी बताती है। इसी लड़की के मामले में पुलिस ने मेरे बेटे को 4 महीने पहले उठाया था इसके बाद डेढ़ लाख रूपए लेकर के छोड़ा था।