उत्तराखंड डेस्क रिपोर्ट, उत्तराखंड में उपचुनाव से पहले भाजपा के पूर्व विधायक ने भाजपा की मुश्किलें बढ़ा दी है। दअरसल भाजपा के पूर्व विधायक हरभजन सिंह चीमा ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि हमारे देश की संस्कृति एवं सभ्यता के अनुरूप ही महिलाओं को अपने अंग वस्त्र धारण करने चाहिए। उन्होंने महिलाओं एवं छात्राओं के प्रति पुरुषों की बढ़ रही घृणित सोच को भारतीय संस्कृति के विपरीत बताया। पूर्व विधायक चीमा ने जिम्मेदार अभिभावकों से भी अपेक्षा की है कि वह अपने परिवार की महिलाओं और बच्चियों को भारतीय संस्कृति के अनुरूप ही वस्त्र धारण करने को प्रेरित करें। बता दें कि राज्य में बढ़ते महिला अपराधों को लेकर हरभजन सिंह चीमा ने यह विवादित बयान दिया है। हांलाकि भाजपा ने चीमा के बयान को निजी बताकर अपना पल्ला झाड़ लिया है। लेकिन विपक्ष ने इस मुद्दे पर प्रदेशभर में भाजपा के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। कांग्रेस ने हरभजन सिंह चीमा का पुतला दहन कर उनके इस बयान को भाजपा की मानसिकता बताया है। कांग्रेस का कहना है कि चीमा से पहले भाजपा नेता एंव पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने भी मुख्यमंत्री रहते हुए फटी जींस की बात कहकर महिलाओं को अपमानित किया था। कांग्रेस ने चीमा के बयान की निंदा करते हुए महिला आयोग से पार्टी नेताओं के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है। वहीं कांग्रेस ने एक ओर जहां हरभजन सिंह चीमा के बयान पर भाजपा की घेराबंदी शुरू कर दी है। तो वहीं दूसरी ओर कांग्रेस ने राज्य में बढ़ते महिला अपराधों को लेकर भी पुलिस मुख्यालय का घेराव किया है। सवाल ये है कि क्या बढ़ते महिला अपराध के लिए महिलाओं के लिए कपड़े जिम्मेदार है
देवभूमि उत्तराखंड में बढ़ते महिला अपराधों पर सियासत थमने का नाम नहीं ले रही है दअरसल एक और जहां कांग्रेस ने बढ़ते महिला अपराधों के खिलाफ राज्य सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला हुआ है तो वहीं दूसरी ओर भाजपा के ही वरिष्ठ नेता और पूर्व विधायक हरभजन सिंह चीमा के विवादित बयान ने सरकार की मुश्किलें बढ़ा दी है। हरभजन सिंह चीमा के मुताबिक दुष्कर्म की बढ़ रही घटनाओं के पीछे महिलाओं के पहनावे जिम्मेदार है। उनके इस विवादित बयान के बाद राज्य में सियासत गरमा गई है। कांग्रेस ने प्रदेशभर में हरभजन सिंह चीमा का पुतला दहन किया है। कांग्रेस का कहना है कि चीमा से पहले भाजपा नेता एंव पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने भी मुख्यमंत्री रहते हुए फटी जींस की बात कहकर महिलाओं को अपमानित किया था। वहीं भाजपा ने चीमा के बयान को निजी बताकर अपना पल्ला झाड़ लिया है।
आपको बता दें कि उत्तराखंड में महिला अपराधों की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। तमाम सरकारी और गैर सरकारी प्रयासों के बाद भी उत्तराखंड में महिला अपराध वर्ष दर वर्ष बढ़ता जा रहा है। एनसीआरबी की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक महिला अपराधों में देश में उत्तराखंड का छठा स्थान है। साल 2022 में प्रदेश में महिला अपराध का ग्राफ वर्ष 2021 के मुकाबले 26 प्रतिशत ऊपर पहुंच गया है। एनसीआरबी के रिपोर्ट के बाद विपक्ष की ओर से लगातार सरकार की घेराबंदी की जा रही है। हांलाकि सत्तापक्ष का कहना है कि राज्य सरकार जो भी अपराधी है उन सभी पर कार्रवाई कर रही है।
कुल मिलाकर राज्य में बढ़ते महिला अपराध काफी चिंताजनक है। हांलाकि सरकार कानून व्यवस्था की बेहतरी के दावों तो बहुत कर रही है लेकिन एनसीआरबी के आंकड़ों ने ही सरकार के दावों की पोल खोलकर रख दी है। इस बीच हरभजन सिंह चीमा के विवादित बयान ने सरकार की मुश्किलों को और बढ़ा दिया है। सवाल ये है कि क्या बढ़ते महिला अपराध के लिए महिलाओं के लिए कपड़े ही जिम्मेदार है..