उत्तराखंड, देहरादून : बुराई पर अच्छाई की जीत के प्रतीक विजयदशमी पर्व की देहरादून में तैयारियां जोरों – शोरों से चल रही है। हरियाणा के अंबाला से आए कारीगर देहरादून के परेड ग्राउंड में रावण, कुंभकरण, मेघनाथ बनाने में जुटे हुए हैं। खास बात यह है कि इस बार रावण दहन में रिमोट तकनीक का इस्तेमाल भी किया जा रहा है। इस बार देहरादून के निवासी विजयदशमी में 131 फीट ऊंचे रावण का पुतला दहन होते हुए देखेंगे। जो उत्तराखंड के इतिहास में पहली बार होने जा रहा है। हरियाणा से आए तेजिंदर सिंह चौहान का कहना है कि इस साल रावण के पुतले को 3000 मीटर कपड़ा, 24 फुट हाइट के 520 बांस, 25 कुंतल लोहे से बनाया जा रहा है। उन्होंने बताया कि रावण के चेहरे को डेढ़ क्विंटल फाइबर ग्लास से बनाया जा रहा है और पुतले में कागज का इस्तेमाल नहीं किया गया है।
उन्होंने बताया कि इस बार देहरादूनवासी अब तक के सबसे ऊंचे रावण को दहन होते हुए देखेंगे। उन्होंने कहा कि इस बार विजयदशमी में रावण को रिमोट कंट्रोल के माध्यम से जलाया जाएगा। वहीं दशहरा आयोजित करने वाली बन्नू बिरादरी के प्रधान संतोख नागपाल का कहना है कि रावण मेघनाथ और कुंभकरण को फैंसी लाइटों और इको फ्रेंडली पटाखों से सजाया गया है। इसके अलावा 35 बाई 35 की भव्य लंका का निर्माण किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि विजयदशमी के अवसर पर रामलीला कमेटी की ओर से भव्य शोभायात्रा भी निकाली जाएगी।