KNEWS DESK – सुप्रीम कोर्ट विवादों से घिरी मेडिकल प्रवेश परीक्षा नीट-यूजी 2024 से संबंधित याचिकाओं पर सोमवार को सुनवाई करेगा। इन याचिकाओं में नीट-यूजी की पांच मई को हुई परीक्षा में गड़बड़ी का आरोप लगाने वाली और इसे फिर से आयोजित करने का निर्देश देने का अनुरोध करने वाली याचिकाएं भी शामिल हैं।
मामले से जुड़ी 38 याचिकाओं पर सुनवाई
जानकारी के मुताबिक केंद्र और राष्ट्रीय परीक्षा एजेंसी (एनटीए) ने बीते शुक्रवार को कोर्ट में कहा था कि गोपनीयता भंग होने के किसी सबूत के बिना एग्जान के रद्द करने से छात्रों पर असर पड़ेगा। इससे लाखों ईमानदार अभ्यर्थियों पर गंभीर असर पड़ सकता है। सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस डी. वाई. चंद्रचूड़, जस्टिस जे. बी. पारदीवाला और जस्टिस मनोज मिश्रा की पीठ मामले से जुड़ी 38 याचिकाओं पर सुनवाई करेगी। 23 जून को सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर उन स्टूडेंट्स को नीट यूजी परीक्षा दोबारा देने का मौका दिया गया था, जिन्हें पांच मई वाले एग्जाम में ग्रेस मार्क्स दिए गए थे।
बता दें कि एनटीए सरकारी और निजी संस्थानों में एमबीबीएस, बीडीएस, आयुष और दूसरे कोर्स में एडमिशन के लिए नीट-यूजी का आयोजन करती है। पांच मई को नीट-यूजी का एग्जाम हुआ था। जिसमें 571 शहरों के 4,750 एग्जाम सेंटर पर पर करीब 23 लाख अभ्यर्थी शामिल हुए थे। पेपर लीक समेत अनियमितताओं के आरोपों को लेकर कई शहरों में विरोध प्रदर्शन हुए और विपक्षी दलों ने इस मुद्दे को संसद में उठाया गया था। नीट-यूजी 2024 परीक्षा में गड़बड़ी के संबंध में अदालतों में भी कई मामले दायर किए गए।
अदालत की निगरानी में जांच की मांग
केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय और एनटीए ने उन याचिकाओं का विरोध करते हुए अलग-अलग हलफनामे दाखिल किए हैं, जिनमें विवादों में रही इस परीक्षा को रद्द करने, दोबारा परीक्षा कराने और अदालत की निगरानी में जांच की मांग की गई है। फिलहाल देश की प्रमुख जांच एजेंसी सीबीआई ने अलग-अलग राज्यों में दर्ज मामलों को अपने अंडर ले लिया है।