KNEWS DESK- स्टैंडअप कॉमेडियन कुणाल कामरा को मद्रास हाई कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। अदालत ने उनके खिलाफ दर्ज किए गए मामलों के चलते उनकी गिरफ्तारी पर 7 अप्रैल तक के लिए रोक लगा दी है। यह फैसला कुणाल कामरा के लिए राहत की सांस बनकर आया है, क्योंकि वह इस मामले में कानूनी मुसीबत का सामना कर रहे थे।
कुणाल कामरा को आज, 31 मार्च को मुंबई के खार पुलिस स्टेशन में बयान दर्ज कराने के लिए बुलाया गया था। हालांकि, मद्रास हाई कोर्ट से मिली राहत के बाद वह कभी भी खार पुलिस स्टेशन जाकर अपना बयान दर्ज करा सकते हैं। यह समन उन्हें उनके सोशल मीडिया पर किए गए एक पोस्ट के कारण जारी किया गया था, जिसमें उन्होंने महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे पर बिना नाम लिए टिप्पणी की थी।
कुणाल कामरा के खिलाफ खार पुलिस स्टेशन में तीन अलग-अलग मामले दर्ज किए गए हैं। ये मामले उनके 23 मार्च को पोस्ट किए गए एक वीडियो के चलते सामने आए, जिसमें उन्होंने एकनाथ शिंदे पर बिना नाम लिए टिप्पणी की थी। इस वीडियो के बाद शिंदे के समर्थकों का आक्रोश भड़का, और मुंबई नगर निगम ने कुणाल के स्टूडियो को भी गिरा दिया।
इन मामलों में शिकायत दर्ज कराने वाले लोग मुंबई के एक मेयर, एक होटल व्यवसायी, और एक बिजनेस मैन हैं। मुंबई पुलिस ने पहले भी कुणाल को पूछताछ के लिए बुलाया था, लेकिन वह इन बुलावों पर उपस्थित नहीं हुए थे।
इस मामले में कुणाल कामरा ने मद्रास हाई कोर्ट में अग्रिम जमानत याचिका दायर की थी। उनकी कानूनी टीम ने कोर्ट में सुनवाई की मांग की थी, जिसे अदालत ने स्वीकार कर लिया। चूंकि कुणाल इस समय तमिलनाडु में रह रहे हैं, इसलिए उन्होंने वहां से ही राहत की मांग की थी।
अब जब अदालत ने गिरफ्तारी पर रोक लगा दी है, तो कुणाल कामरा के सामने कानूनी प्रक्रिया के तहत जांच में सहयोग करने के अलावा और कोई विकल्प नहीं है। वह जल्द ही मुंबई में खार पुलिस स्टेशन जाकर अपना बयान दर्ज कराएंगे।
यह मामला सिर्फ कुणाल कामरा के लिए ही नहीं, बल्कि सोशल मीडिया पर अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता और उसके कानूनी प्रभावों पर भी एक बड़ा सवाल उठाता है। क्या यह मामला अन्य कलाकारों के लिए एक चेतावनी बन जाएगा? समय ही बताएगा।
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