डिजिटल डेस्क- पूर्व आईपीएस अधिकारी और आज़ाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमिताभ ठाकुर को देवरिया पुलिस ने मंगलवार देर रात गिरफ्तार कर लिया। जानकारी के मुताबिक, अमिताभ ठाकुर लखनऊ से दिल्ली जा रहे थे, तभी शाहजहांपुर में उनकी ट्रेन को रोककर उन्हें नीचे उतारा गया और पुलिस हिरासत में ले लिया गया। देवरिया में कुछ दिनों पहले दर्ज हुए एक मामले की जांच में सहयोग न करने को उनकी गिरफ्तारी की वजह बताया गया है। पुलिस का कहना है कि अमिताभ ठाकुर को कई बार नोटिस भेजे गए थे, लेकिन उन्होंने जांच में अपेक्षित सहयोग नहीं किया। इसके बाद ही देवरिया पुलिस टीम ने उन्हें बीच रास्ते में रोककर अपनी हिरासत में लेने की कार्रवाई की। गिरफ्तारी के बाद उन्हें आगे की कानूनी प्रक्रिया के लिए देवरिया ले जाया गया।
लंबे समय से भ्रष्टाचार और अनियमितताओं पर प्रहार कर रहे थे पूर्व आईपीएस
अमिताभ ठाकुर लंबे समय से भ्रष्टाचार और प्रशासनिक अनियमितताओं पर सवाल उठाते रहे हैं। हाल ही में उन्होंने कानपुर के अधिवक्ता अखिलेश दुबे और उनसे जुड़े कथित अवैध संपत्ति मामलों की विस्तृत जांच की मांग की थी। इसके लिए उन्होंने मंडलायुक्त और पुलिस आयुक्त को पत्र लिखकर कई गंभीर आरोप लगाए थे। अपने पत्र में उन्होंने साकेतनगर स्थित पार्क की जमीन पर कब्जा कर ‘किशोरी वाटिका गेस्ट हाउस’ निर्माण, अखिलेश दुबे के कार्यालय के अनियमित आवंटन और एक स्कूल के कथित अवैध संचालन की जांच की मांग की थी।
दुबे मामले में जोनल कमिश्नर कार्यालय के एक कर्मचारी की संलिप्तता पर भी उठाए थे सवाल
उनके अनुसार, ये सब सरकारी भूमि पर अवैध कब्जे और प्रभाव का उपयोग कर किए गए कार्य हैं। साथ ही उन्होंने मंडलायुक्त कार्यालय के एक कर्मचारी पर भी सवाल उठाते हुए आरोप लगाया था कि वह प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से अधिवक्ता दुबे की सहायता कर रहा है। अमिताभ ठाकुर का दावा था कि इन मामलों में विस्तृत जांच के बाद यह स्पष्ट किया जाना चाहिए कि किन लोगों ने अवैध कब्जे को बढ़ावा दिया, और कितने लोगों ने इससे आर्थिक लाभ अर्जित किया। उन्होंने आरोपियों से अवैध कमाई की रिकवरी की मांग भी की थी।