KNEWS DESK… चंद्रयान-3 के लैंडर विक्रम के चंद्रमा की सतह पर लैंडिंग के बाद से लगातार वीडियो और फोटो सामने आ रही हैं. ISRO ने ट्वीट कर इसके बारे में जानकारी दे रहा है. विक्रम लगातार अपने कैमरे रोवर की फोटो औऱ वीडियो भेज रहा है.
दरअसल आपको बता दें कि ISRO ने कल यानी 26 अगस्त की रात ट्वीटर पर रोवर का वीडियो पोस्ट करते हुए बताया कि लैंडिंग के बाद कैसे लैंडर विक्रम और रोवर प्रज्ञान के बीच में बातचीत हुई है. वीडियो में दिख रहा है. कि जो रोवर प्रज्ञान विक्रम लैंडर के अंदर बैठ कर चंद्रमा तक पहुंचा था. उसने लैंडिंग के बाद ठीक उसी अंदाज में विक्रम से अनुमति मांगी जैसे बच्चे घर से बाहर जाने के लिए घर के बड़े सदस्यों से अनुमति मांगते हैं. चांद की सतह पर उतरने से पहले प्रज्ञान ने विक्रम से पूछा, ‘क्या मैं मूनवॉक के लिए जा सकता हूं?’ विक्रम ने एक बुजुर्ग की तरह अनुमति देते हुए जवाब दिया, ‘हां, तुम जा सकते हो लेकिन टच में रहना.’ जिस पर प्रज्ञान कहता है- ‘ याहूहूहूहू……’ इसके बाद वह विक्रम से उतरकर चंद्रमा की सतह पर आ है.
Pragyan: Can I go for a Moonwalk?
Vikram: Yes, you can go but keep in touch!
Pragyan: Yaaaaahoooooooooo…!🤗#Chandrayaan3 #ISRO pic.twitter.com/KWLii6pPmB
— LVM3-M4/CHANDRAYAAN-3 MISSION (@chandrayaan_3) August 26, 2023
बता दें कि देखते ही देखते यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया. अभी तक करीब 10 लाख लोग इस वीडियो को देख चुके हैं जबकि 45 हजार से अधिक लोग इसे लाइक कर चुके हैं.जबकि 6 हजार से अधिक लोग रिपोस्ट कर चुके हैं. लोग लगातार इस वीडियो को शेयर कर रहे हैं और देश के वैज्ञानिकों की तारीफ कर रहे हैं. ये वीडियो उस वक्त का है जब रोवर प्रज्ञान लैंडर से निकलकर चांद की सतह पर उतरा था. चंद्रयान-3 की कामयाबी ने चांद के साउथ पोल पर भारत का परचम बुलंद किया है. वीडियो में रोवर प्रज्ञान की जो तस्वीर सामने आई है उस पर इसरो का लोगो और तिरंगा नज़र आ रहा है.
चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर करवाई गई लैंडिंग
चांद के दक्षिणी ध्रुव के पास लैंडर उतारने वाला भारत, दुनिया का पहला देश बन गया है. वहीं, चांद की सतह पर लैंडर उतारने वाला चौथा देश बन गया है. इससे पहले सितंबर 2019 में भी इसरो ने चंद्रयान-2 को चांद के दक्षिणी ध्रुव के पास उतारने की कोशिश की थी. लेकिन तब हार्ड लैंडिंग हो गई थी. चांद की सतह पर लैंड करने से पहले ही विक्रम लैंडर टकरा गया था और इसकी क्रैश लैंडिंग हुई थी. हालांकि, ऑर्बिटर अपना काम कर रहा था. चंद्रयान-2 की गलतियों से सबक लेते हुए चंद्रयान-3 में कई बड़े बदलाव किए गए हैं.
जानिए प्रज्ञान रोवर काम क्या करेगा?
प्रज्ञान रोवर पर दो पेलोड्स लगें हैं. पहला है लेजर इंड्यूस्ड ब्रेकडाउन स्पेक्ट्रोस्कोप. यह चांद की सतह पर मौजूद केमकल्स यानी रसायनों की मात्रा और गुणवत्ता की स्टडी करेगा. साथ ही खनिजों की खोज करेगा. इसके अलावा प्रज्ञान पर दूसरा पेलोड है अल्फा पार्टिकल एक्स-रे स्पेक्ट्रोमीटर यह एलिमेंट कंपोजिशन की स्टडी करेगा. जैसे- मैग्नीशियम, अल्यूमिनियम, सिलिकन, पोटैशियम, कैल्सियम, टिन और लोहा. इनकी खोज लैंडिंग साइट के आसपास चांद की सतह पर की जाएगी.