इंडिगो संकट की असली वजह सामने आई, पायलटों ने मैनेजमेंट पर लगाया मनमानी का आरोप

KNEWS DESK – इंडिगो एयरलाइंस की उड़ानों में व्यवधान लगातार सातवें दिन भी जारी है। विभिन्न एयरपोर्ट्स पर फ्लाइट रेगुलेशन अभी तक सामान्य नहीं हो पाया है, जिससे हजारों यात्री परेशान हैं। सवाल उठ रहे हैं कि क्या यह संकट किसी अंदरूनी रणनीति का हिस्सा है या वास्तव में तकनीकी व संचालन से जुड़ी ऐसी समस्याएं हैं जिनके समाधान में समय लग रहा है? इस बीच, इंडिगो के पायलट्स ने एयरलाइन के मैनेजमेंट पर गंभीर आरोप लगाए हैं, जिनसे मामले ने नया मोड़ ले लिया है।

पायलट्स का आरोप

इंडिगो पायलट्स का कहना है कि फ्लाइट कैंसिलेशन और देरी का यह संकट प्राकृतिक नहीं है, बल्कि जानबूझकर पैदा किया गया है। पायलट्स के अनुसार, मैनेजमेंट नए फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिटेशन (FDTL) नियमों को लागू नहीं करना चाहता था और कथित तौर पर सरकार पर दबाव डालकर इन नियमों को रोकने की कोशिश की गई।

पायलट्स ने सवाल उठाया कि “अगर सिर्फ 65 कैप्टन और 59 फर्स्ट ऑफिसर की कमी है, तो हजारों फ्लाइट्स कैसे प्रभावित हो सकती हैं? यह अधिकतम 5-7% उड़ानों पर असर डाल सकता है, फिर पूरा सिस्टम ठप कैसे हुआ?”

पायलट्स एसोसिएशन ने जताई सुरक्षा को लेकर चिंता

एयरलाइन पायलट्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया के प्रेसिडेंट साग्निक बनर्जी ने कहा कि यह संकट केवल ऑपरेशनल मुद्दा नहीं है, बल्कि पायलट्स की सुरक्षा और आराम की अनदेखी का परिणाम है।

बनर्जी का आरोप है कि “एयरलाइंस मुनाफ़े को प्राथमिकता दे रही हैं और सेफ्टी नियमों को पीछे धकेलने की कोशिश कर रही हैं। जिन SOPs को सालों से उड़ानों की सुरक्षा के लिए अपनाया गया था, उन्हें नज़रअंदाज़ किया जा रहा है।”

उन्होंने बताया कि बदले हुए FDTL नियमों के लागू होने पर कुल 4,581 पायलट्स उपलब्ध रहने चाहिए थे और केवल 124 पायलटों की अतिरिक्त आवश्यकता थी। यह संख्या इतनी बड़ी नहीं कि करोड़ों यात्रियों को प्रभावित कर दे।

क्रू रिपोर्टिंग में देरी और एयरपोर्ट्स पर बदली गई रणनीति

एक अन्य पायलट ने बताया कि हाल ही में एयरपोर्ट्स पर विमानों को असामान्य रूप से एक-दूसरे से 60 किमी तक की दूरी पर पार्क किया जाने लगा। इससे पायलट्स और क्रू के रिपोर्टिंग टाइम में भारी देरी हुई।

आमतौर पर पायलट्स को डिपार्चर से 8–10 घंटे पहले कॉल मिलती है, ताकि वे समय से तैयारी कर सकें। लेकिन अचानक ये कॉल उड़ान से ठीक 8–10 घंटे पहले मिलने लगीं, जिससे क्रू मैनेजमेंट बिगड़ गया और उड़ानें समय पर संचालित नहीं हो सकीं।

पायलट्स ने कहा कि पिछले पांच दिन उनके करियर के सबसे अराजक दिन रहे हैं। वे अब इंडिगो से एक अधिक पारदर्शी और संरचित सिस्टम लागू करने की मांग कर रहे हैं, जिससे यात्रियों और क्रू दोनों को ऐसी परेशानियों का सामना न करना पड़े।

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