महाराष्ट्र: फिल्म निर्देशक सुनील दर्शन ने गूगल के सीईओ सुंदर पिचाई समेत कंपनी के पांच अन्य अधिकारियों के खिलाफ FIR की है, जिसमें कॉपीराइट अधिनियम की धारा लगाई गयी है। बताया जा रहा है कि, महाराष्ट्र की एक अदालत के निर्देश पर यह एफआई आर दर्ज हुई है। शिकायतकर्ता अपनी शिकायत में कहा कि, Google ने अनधिकृत व्यक्तियों को उनकी फिल्म ‘एक हसीना थी एक दीवाना था’ को यू-ट्यूब (YouTube) पर अपलोड करने की अनुमति दी थी। गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर केंद्र सरकार ने मंगलवार को पद्म पुरस्कारों का ऐलान किया। गूगल के सीईओ सुंदर पिचाई और माइक्रोसॉफ्ट के सीईओ सत्या नडेला को पद्म भूषण से सम्मानित किया गया।
बता दे कि, MIDC पुलिस ने अंधेरी ईस्ट में एफआईआर दर्ज करते हुए मामले की जांच शुरू कर दी है, जिसमें पुलिस ने कॉपीराइट एक्ट 1957 की धारा 51, 63 और 69 के तहत एफआईआर दर्ज की है। कॉपीराइट मामले में फिल्म मेकर सुनील दर्शन कोर्ट पहुंचे थे, जिसके बादकोर्ट ने गूगल के सीईओ सुंदर पिचाई और पांच अन्य के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने का आदेश दिया। 2017 में उनकी आखिरी फिल्म एक हसीना थी एक दीवाना था आई। दर्शन का आरोप है कि उनकी जानकारी के बिना इस फिल्म को यू-ट्यूब पर अपलोड कर दिया गया।
मेरी इज़्ज़ज़त के बिना अपलोड की गयी मेरी फिल्म-
टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक सुनील दर्शन ने कहा, “मैंने अपनी फिल्म को आज तक कहीं भी अपलोड नहीं किया है और न ही मैंने इसे किसी को बेचा है. लेकिन यू ट्यूब पर यह अपलोड है जिस पर करोड़ो व्यूज है. मैं गूगल से लगातार विनती करता रहा कि वह इसे अपने प्लेटफॉर्म से हटा लें. लेकिन उनकी तरफ से कोई रिस्पॉन्स नहीं मिला. कोई गलत तरीके से मेरी फिल्म को यूट्यूब पर अपलोड करके पैसा कमा रहा है. परेशान होकर अंत में मुझे कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ा. कोर्ट ने अब एफआईआर का आदेश दिया है. मैं टेक्नोलॉजी को चैलेंज नहीं करना चाहता लेकिन यह टेक्नोलॉजी का गलत इस्तेमाल है.”