KNEWS DESK- श्रीकृष्ण जन्मभूमि के पास बस्ती में बुलडोजर एक्शन पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी है। आपको बता दें कि कोर्ट ने डिमॉलिशन न करते हुए 10 दिनों तक यथास्थिति बनाए रखने का आदेश दिया है। इसके साथ ही केंद्र सरकार और रेलवे को नोटिस जारी करके जवाब मांगा है। अब कोर्ट इस मामले में अगले हफ्ते सुनवाई करेगा। कोर्ट में याचिकाकर्ता याकूब ने कहा कि वहां पर 100 घरों को गिराया जा चुका है, 100 के करीब घर बचे हैं। रेलवे का दावा है कि यह अवैध अतिक्रमण है। रेलवे की जमीन पर निर्माण किए गए हैं।
ये है पूरा मामला
मथुरा-वृंदावन के बीच करीब 12 किलोमीटर मीटर गेज रेलवे ट्रैक है। अब इसे ब्रॉड गेज में बदला जा रहा है। इस पर सेमी हाई-स्पीड ट्रेन चलाई जानी है। इसके लिए 1 साल पहले करीब 200 मकान चिह्नित किए गए। मकान खाली करने के लिए लोगों को रेलवे की तरफ से 3 बार नोटिस दिए हैं। सबसे आखिरी नोटिस जून में दिया गया था। इसमें रेलवे ने 1 महीने के अंदर मकान खाली करने की बात कही। मगर, 1 महीने बाद भी किसी ने मकान खाली नहीं किया। इसके बाद, रेलवे ने 9 अगस्त को पहली कार्रवाई की। इसमें भारी फोर्स के बीच 60 मकानों पर बुलडोजर चलाया। इसके बाद रेलवे ने लोगों को मकान खाली करने के लिए 3 दिन का और समय दिया। फिर भी किसी ने मकान नहीं खाली किए। फिर सोमवार यानी 14 अगस्त को बुलडोजर एक्शन हुआ। इसमें 38 मकान तोड़े गए थे। यानी अभी करीब 100 घर बचे हैं।
पहले सुप्रीम कोर्ट ने सुनावाई से किया था इनकार
सुप्रीम कोर्ट में सोमवार को इस मामले में सुनवाई हुई थी। कोर्ट ने याचिकाकर्ता से इलाहाबाद हाईकोर्ट जाने को कहा था और सुनवाई से इनकार कर दिया था। इसके बाद याचिकाकर्ता ने दलील दी की, “एक वकील ही हत्या की वजह से यूपी में सभी अदालतें आज बंद हैं, इसलिए सीधा सुप्रीम कोर्ट आएं हैं।” इसके बाद कोर्ट 16 अगस्त यानी आज सुनवाई के लिए तैयार हो गया था। बुलडोजर एक्शन के मामले में मुख्य न्यायधीश ने पीठ का गठन किया है। इसके बाद जस्टिस अनिरुद्ध बोस, जस्टिस संजय कुमार और न्यायमूर्ति एसवीएन भट्टी ने मामले की सुनवाई की।