योगी कैबिनेट की बड़ी बैठक: 20 प्रस्तावों को मिली मंजूरी, उद्योग, पर्यटन, खेल और स्वास्थ्य से जुड़े अहम फैसले

डिजिटल डेस्क- उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में मंगलवार को लोकभवन में कैबिनेट की महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई। बैठक में कुल 21 प्रस्ताव पेश किए गए, जिनमें से 20 को मंजूरी दे दी गई, जबकि निजी अस्पतालों के लिए प्रस्तावित प्रोत्साहन नीति को पुनर्परीक्षण के लिए वापस भेज दिया गया। कैबिनेट मंत्री सुरेश खन्ना ने बैठक में लिए गए निर्णयों की जानकारी दी। कैबिनेट ने उद्योग जगत को राहत देने के उद्देश्य से SGST और स्टांप ड्यूटी में छूट प्रदान करने का फैसला किया। इसी क्रम में मेरठ स्थित मेसर्स पसवारा पेपर्स लिमिटेड को 65.67 लाख रुपये का अतिरिक्त लाभ स्वीकृत किया गया है। कंपनी को पहले ही 1.5 करोड़ रुपये का लाभ दिया जा चुका है। शाहजहांपुर और मथुरा की दो और कंपनियों को भी औद्योगिक विकास नीति के तहत प्रोत्साहन प्रदान करने को मंजूरी मिली है।

प्रदेश में योग, पर्यटन और धार्मिक विकास को नई गति

सरकार ने बागपत में अंतरराष्ट्रीय स्तर का योग एवं आरोग्य केंद्र PPP मॉडल पर विकसित करने की मंजूरी दी है। इसके लिए राज्य सरकार भूमि निशुल्क उपलब्ध कराएगी। यह केंद्र प्रदेश में वेलनेस और मेडिकल टूरिज्म को बढ़ावा देगा। अयोध्या में भव्य मंदिर संग्रहालय के निर्माण के प्रस्ताव पर भी कैबिनेट की मुहर लग गई है। यह संग्रहालय रामनगरी के सांस्कृतिक और धार्मिक महत्व को वैश्विक स्तर पर और मजबूत करेगा तथा तीर्थयात्रियों के लिए नया आकर्षण बनेगा। पूर्वांचल के लिए एक अहम निर्णय लेते हुए कैबिनेट ने चंदौली जिले में 4.91 अरब रुपये की लागत से 29.67 किलोमीटर लंबी सड़क को फोरलेन करने की मंजूरी दी है। यह सड़क सकलडीहा-चहनिया-सैदपुर मार्ग के जरिए गाजीपुर को जोड़ेगी, जिससे आवागमन सुगम होगा और क्षेत्र का आर्थिक विकास तेज होगा।

खेल और जेल प्रबंधन में सुधार

खेल क्षेत्र में अंतरराष्ट्रीय पदक विजेताओं की सीधी भर्ती नियमावली-2022 में संशोधन किया गया है। अब खिलाड़ियों के प्रशिक्षण, प्रतियोगिता अवधि और यात्रा समय को भी ड्यूटी के रूप में गिना जाएगा। इससे खिलाड़ियों को नौकरी के अवसरों में और सुविधा मिलेगी। जेल मैनुअल में भी अहम संशोधन किया गया है। अब साफ तौर पर प्रावधान किया गया है कि किसी भी बंदी के साथ जाति के आधार पर किसी भी प्रकार का भेदभाव नहीं किया जाएगा। इंटीग्रेटेड टाउनशिप नीति-2005 और 2014 के तहत रुकी पड़ी परियोजनाओं को पूरा कराने या निरस्त करने का प्रावधान लागू किया गया है, जिससे बंद पड़े आवासीय प्रोजेक्टों में तेजी आएगी।

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