KNEWS DESK – दिल्ली में लाल किले के बाहर हुए धमाके की जांच में एक अहम मोड़ सामने आया है। पटियाला हाउस कोर्ट ने संदिग्ध आतंकी जसीर बिलाल वानी उर्फ दानिश को NIA हिरासत के दौरान अपने वकील से मिलने की अनुमति दे दी है। कोर्ट के आदेश के अनुसार, जसीर हर दूसरे दिन शाम 5 से 6 बजे के बीच 20 मिनट तक अपने वकील से मुलाकात कर सकेगा।
वकील से मिलने की थी जसीर की मांग
जसीर ने NIA हेडक्वार्टर में हिरासत के दौरान कानूनी सलाह लेने के लिए कोर्ट में अर्जी दायर की थी। इसी पर सुनवाई करते हुए अदालत ने उसे सीमित समय के लिए वकील से मुलाकात की इजाजत दे दी। जसीर कश्मीर के काज़ीगुंड, अनंतनाग का रहने वाला है और उसे 17 नवंबर को श्रीनगर से गिरफ्तार किया गया था। अगले ही दिन उसे 10 दिन की NIA कस्टडी में भेज दिया गया।
आतंकियों को तकनीकी मदद देने का आरोप
NIA के अनुसार, जसीर बिलाल वानी आतंकी उमर-उन-नबी का सक्रिय सहयोगी है। जांच में सामने आया है कि जसीर ड्रोन को मॉडिफाई कर आतंकियों को तकनीकी सहायता मुहैया कराता था। पूछताछ के दौरान उसने उमर और उसके नेटवर्क से जुड़े कई लोगों की जानकारी भी एजेंसी को दी है। NIA अब इन कड़ियों को जोड़कर पूरे मॉड्यूल का पर्दाफाश करने में जुटी है।
चार और गिरफ्तार आरोपी हिरासत में
इससे पहले कोर्ट ने मुजम्मिल गनई, अदील राथर, शाहीना सईद और मौलवी इरफान अहमद वागे को 10 दिन की NIA कस्टडी में भेजा था। ये सभी 10 नवंबर को लाल किले के निकट हुए कार ब्लास्ट केस में गिरफ्तार किए गए थे, जिसमें 15 लोगों की मौत हो गई थी। जम्मू-कश्मीर पुलिस ने शुरुआती कार्रवाई करते हुए इन्हें हिरासत में लिया था, जिसे आगे की जांच के लिए NIA को सौंप दिया गया है।
जांच एजेंसी की नजर व्यापक नेटवर्क पर
NIA अब जसीर व अन्य आरोपियों से पूछताछ कर आतंकियों के इस नेटवर्क के हर लिंक की जानकारी जुटा रही है। एजेंसी की कोशिश है कि ब्लास्ट और उससे जुड़े लोगों की पूरी साजिश को उजागर कर सभी आरोपियों को जल्द गिरफ्तार किया जाए।