शिव शंकर सविता- बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के पहले चरण के नामांकन में अब केवल कल शुक्रवार तक का समय बचा है, लेकिन महागठबंधन के घटक दलों के बीच सीट शेयरिंग पर कोई समझौता नहीं हो पाया है। राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) और कांग्रेस के बीच सीटों को लेकर मतभेद जारी हैं, वहीं विकासशील इंसान पार्टी (वीआईपी) के संस्थापक मुकेश सहनी भी सीट बंटवारे को लेकर नाराज हैं। सूत्रों के अनुसार, वीआईपी को महागठबंधन में केवल 9 सीटें ऑफर की गईं, जिससे सहनी खफा हैं। बीती रात तेजस्वी यादव के साथ हुई बैठक में भी कोई अंतिम फैसला नहीं हो सका। आरजेडी ने वीआईपी को आवंटित की जाने वाली कुछ प्रमुख सीटों पर पहले ही अपने उम्मीदवार उतार दिए हैं। इनमें औराई, गौड़ा बौराम और सिमरी बख्तियारपुर जैसी सीटें शामिल हैं।
पहले होनी थी 12 बजे प्रेस कॉन्फ्रेंस
सिमरी सीट से मुकेश सहनी खुद चुनाव लड़ने वाले थे, जबकि गौड़ा बौराम से उनके भाई संतोष सहनी को मैदान में उतारने की योजना थी। हालांकि अब तक वीआईपी की ओर से कोई भी उम्मीदवार का ऐलान नहीं किया गया है।
मुकेश सहनी की नाराजगी के चलते आज दोपहर 12 बजे होने वाली प्रेस कॉन्फ्रेंस को शाम 4 बजे कर दिया गया है। माना जा रहा है कि इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में वे महागठबंधन के साथ अपना रुख स्पष्ट कर सकते हैं या सीट बंटवारे पर अपनी नाराजगी जताएंगे।
कांग्रेस को निभानी होगी अहम जिम्मेदारी
कांग्रेस ने कहा कि पार्टी पिछले चुनाव की तुलना में पहले ही 9 सीटें कम लड़ रही है, इसलिए वीआईपी के लिए कोई अतिरिक्त सीट नहीं छोड़ी जा सकती। वहीं तेजस्वी यादव की ओर से कांग्रेस को यह कहा गया कि वीआईपी को मनाने की जिम्मेदारी कांग्रेस को भी निभानी होगी। इस बीच, भाजपा ने महागठबंधन में जारी खींचतान पर चुटकी ली है। बिहार बीजेपी अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने कहा, “महागठबंधन में आरजेडी और कांग्रेस के बीच आपसी खींचतान साफ दिख रही है। यह स्थिति वोटर्स को NDA की ओर आकर्षित करेगी। मुकेश सहनी के साथ अन्याय हो रहा है, उनकी इज्जत बचाने की जरूरत है।” वीआईपी के लखीसराय जिलाध्यक्ष सकलदेव ने तारापुर सीट से अपना नामांकन दाखिल कर दिया है। उनका कहना है कि वीआईपी 243 सीटों पर उम्मीदवार उतारने को तैयार है और तेजस्वी यादव का मुख्यमंत्री बनने का सपना अधूरा रह जाएगा।