KNEWS DESK- कांग्रेस नेता और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी एक बार फिर से वोट चोरी के मुद्दे पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर आक्रामक रुख अपनाते नजर आ रहे हैं। हाल ही में बिहार की राजधानी पटना में अपनी ‘वोटर अधिकार यात्रा’ के समापन समारोह में उन्होंने संकेत दिया था कि उनकी अगली कार्रवाई एक ‘हाइड्रोजन बम’ जैसी होगी। अब सभी की नजर गुरुवार सुबह 10 बजे होने वाली उनकी प्रेस कॉन्फ्रेंस पर टिकी है, जिसे लेकर राजनीतिक हलकों में जबरदस्त हलचल है।
पटना में 1 सितंबर को राहुल गांधी ने कहा था, “आपने एटम बम का नाम सुना है? एटम बम से बड़ा होता है हाइड्रोजन बम। बीजेपी के लोग तैयार हो जाओ, हाइड्रोजन बम आ रहा है।” इस बयान के बाद से यह अटकलें तेज हो गई हैं कि राहुल गांधी किसी बड़े खुलासे की तैयारी में हैं। उन्होंने इशारा किया था कि यह मुद्दा इतना बड़ा होगा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को देश का सामना करना मुश्किल हो जाएगा।
कांग्रेस पार्टी के मीडिया और प्रचार विभाग के प्रमुख पवन खेड़ा ने सोशल मीडिया के ज़रिए जानकारी दी है कि राहुल गांधी गुरुवार सुबह 10 बजे दिल्ली स्थित इंदिरा भवन सभागार में प्रेस को संबोधित करेंगे। माना जा रहा है कि यह प्रेस कॉन्फ्रेंस खासतौर पर वोट चोरी से जुड़े तथ्यों और सबूतों को सार्वजनिक करने के लिए रखी गई है।
राहुल गांधी की आखिरी प्रेस कॉन्फ्रेंस 7 अगस्त को हुई थी, जिसमें उन्होंने कर्नाटक की एक लोकसभा सीट के चुनावी आंकड़ों का हवाला देते हुए चुनाव आयोग पर भाजपा के साथ मिलकर वोट चोरी का आरोप लगाया था। उन्होंने इसे संविधान और लोकतंत्र के खिलाफ अपराध बताया था।
राहुल गांधी लगातार यह मुद्दा उठा रहे हैं कि वोट चोरी केवल चुनावी धोखाधड़ी नहीं, बल्कि जनता के अधिकारों की खुली लूट है। उनका कहना है कि इससे रोजगार, शिक्षा, आरक्षण, और लोकतांत्रिक मूल्यों की भी चोरी हो रही है। उन्होंने कहा था, “वोट चोरी का मतलब है आपकी जमीन, आपका राशन कार्ड, आपका भविष्य – सब कुछ अडाणी-अंबानी को सौंप देना।”
इससे इतर राहुल गांधी ने हाल ही में प्रधानमंत्री मोदी को एक पत्र लिखकर पंजाब में आई बाढ़ को लेकर चिंता जाहिर की थी। उन्होंने पीएम से नुकसान का आकलन करने और प्रभावितों के लिए राहत पैकेज की मांग की है। हालांकि, अब सियासी नजरें उनके ‘हाइड्रोजन बम’ वाले बयान की तरफ ज्यादा केंद्रित हैं।
विशेषज्ञों का मानना है कि राहुल गांधी अब वोट चोरी के मुद्दे को एक राष्ट्रव्यापी आंदोलन के रूप में स्थापित करना चाहते हैं। ‘हाइड्रोजन बम’ जैसे शब्दों का प्रयोग संकेत करता है कि कांग्रेस अब आक्रामक रणनीति अपनाने जा रही है। यदि प्रेस कॉन्फ्रेंस में कोई ठोस सबूत या दस्तावेज़ सामने आते हैं, तो यह भाजपा और चुनाव आयोग दोनों के लिए गंभीर चुनौती बन सकता है।