गणेश चतुर्थी: क्यों मनाया जाता है यह दस दिवसीय उत्सव? जानिए इसके पीछे की पौराणिक कथा

KNEWS DESK- भारत के प्रमुख त्योहारों में से एक गणेश चतुर्थी न केवल धार्मिक आस्था का प्रतीक है, बल्कि यह परंपरा, संस्कृति और उत्साह का संगम भी है। यह पर्व भगवान गणेश के जन्मोत्सव के रूप में मनाया जाता है और पूरे दस दिनों तक चलता है। हर वर्ष भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को यह पर्व शुरू होता है और अनंत चतुर्दशी तक चलता है। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आखिर गणेश चतुर्थी क्यों मनाई जाती है? इसके पीछे क्या कथा है?

पौराणिक कथा के अनुसार, एक बार देवी पार्वती स्नान करना चाहती थीं और उन्होंने किसी को द्वार पर पहरेदारी के लिए नियुक्त करना चाहा। उन्होंने अपनी योग शक्ति से एक बालक की रचना की और उसे आदेश दिया कि वह किसी को भी अंदर न आने दे। यही बालक बाद में भगवान गणेश कहलाए। उसी समय भगवान शिव वहाँ पहुंचे और अंदर जाने लगे, लेकिन बालक गणेश ने उन्हें रोक दिया। इस पर शिव अत्यंत क्रोधित हो गए और अपने त्रिशूल से बालक का सिर धड़ से अलग कर दिया।

जब देवी पार्वती को यह घटना पता चली तो वे अत्यंत शोकग्रस्त हुईं और उन्होंने पूरे ब्रह्मांड को नष्ट करने की चेतावनी दी। देवताओं में हाहाकार मच गया। तब भगवान शिव ने इस संकट का समाधान निकाला।

शिव ने अपने गणों से कहा कि वे उत्तर दिशा की ओर जाएं और जो भी पहला जीव मिले उसका सिर ले आएं। गणों को रास्ते में एक हाथी मिला। वे उसका सिर ले आए और भगवान शिव ने हाथी के सिर को बालक के धड़ से जोड़ दिया, जिससे गणेश को नया जीवन मिला।

शिव ने उन्हें आशीर्वाद दिया कि आगे से किसी भी शुभ कार्य की शुरुआत गणेश की पूजा के बिना नहीं होगी। इस प्रकार गणेश विघ्नहर्ता और सर्वप्रथम पूज्य देवता बने।

गणेश चतुर्थी न केवल एक धार्मिक त्योहार है, बल्कि यह समाज को एकजुट करने वाला उत्सव भी है। विशेषकर महाराष्ट्र, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश और तमिलनाडु में इसे बड़े धूमधाम से मनाया जाता है। लोग घरों और सार्वजनिक पंडालों में गणपति बप्पा की प्रतिमाएं स्थापित करते हैं, भजन-कीर्तन करते हैं और उत्सव के अंतिम दिन गणेश प्रतिमा को विशाल शोभायात्रा के साथ विसर्जित किया जाता है।

गणेश चतुर्थी सिर्फ भगवान गणेश के जन्म की याद नहीं है, यह एक आत्मिक जागरण का पर्व है – यह बताता है कि अहंकार को त्यागकर विनम्रता और ज्ञान के मार्ग पर चलने से ही सच्चा जीवन मिलता है।