भाकियू का बड़ा ऐलान, यदि स्कूलों में लगे ताले तो बीएसए कार्यालयों में लगा दिए जाएंगे ताले, बागपत से होगी बगावत की शुरूआत

डिजिटल डेस्क- उत्तर प्रदेश सरकार ने 50 से कम उपस्थिति वाले बच्चों के स्कूलों को बंद करने और उनके अन्य स्कूलों में विलय करने का निर्णय लिया है। इस फैसले का बागपत में बड़ा विरोध देखने को मिल रहा है। बागपत जिला मुख्यालय पर विरोध प्रदर्शन किया गया। इस विरोध प्रदर्शन में समाजवादी पार्टी, कांग्रेस पार्टी, आम आदमी पार्टी सहित किसान संगठन भी मौजूद रहे। सभी ने स्कूलों के विलय के निर्णय को वापस लेने की मांग की है और प्रदर्शन कर चेतावनी दी कि यदि उनकी मांग नहीं मानी जाती है तो 15 अगस्त को एक महापंचायत का आयोजन होगा। बागपत जिला मुख्यालय पर सैकड़ों की संख्या में लोग पहुंचेगे और जमकर विरोध प्रदर्शन किया जाएगा ।

यदि स्कूलों को बंद किया गया तो बीएसए कार्यालय में भी ताला लगा दिया जाएगा

भारतीय किसान यूनियन के जिला अध्यक्ष प्रताप गुर्जर ने कहा कि सरकार शिक्षा का निजीकरण करना चाहती है। इसलिए स्कूलों को बंद करने का निर्णय लिया गया है। बागपत में करीब 40 प्राथमिक स्कूलों को बंद किया गया है। उन्होंने चेतावनी दी की यदि स्कूलों को बंद किया गया तो बैसिक शिक्षा अधिकारी के कार्यालय मे भी ताला लगा दिया जाएगा। भाकियू जिलाध्यक्ष ने कहा की भाजपा पूजीपतियों की सरकार है, ओर इस तालाबंदी की शुरुआत उत्तर प्रदेश मे बागपत से होंगी।

15 अगस्त तक स्कूल नहीं खुले तो होगी महापंचायत

आम आदमी पार्टी के नेता सोमेंद्र ढाका ने कहा कि जरूरतमंद परिवारों के बच्चों की शिक्षा पर इसका बहुत दुष्प्रभाव पड़ेगा। उन्होंने कहा कि अगर स्कूल में बच्चों की उपस्थिति कम थी, तो यह सरकार की विफलता है।उन्होंने मांग की है कि जिन स्कूलों को बंद करने का निर्णय लिया गया है, उन्हें दोबारा चालू किया जाए और बच्चों को अच्छी शिक्षा दी जाए। 15 अगस्त तक स्कूलों को दोबारा चालू न किए जाने पर एक बड़ी महापंचायत का आयोजन कर और सरकार के निर्णय के खिलाफ लड़ाई जारी रखने का एलान किया गया है।