राष्ट्रपति ने MP के सात शिक्षकों को किया सम्मानित, डिजिटल प्लेटफॉर्म और मोबाइल लाइब्रेरी से शिक्षा में नवाचार

KNEWS DESK- राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने विज्ञान भवन में आयोजित एक समारोह के दौरान मध्य प्रदेश के सात शिक्षकों को राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार-2024 से सम्मानित किया। यह पुरस्कार उन शिक्षकों को प्रदान किया गया जिन्होंने शिक्षा क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान और नवाचार किए हैं। इस अवसर पर शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान और अन्य गणमान्य लोग भी उपस्थित थे।

सम्मानित शिक्षकों की सूची और उनके योगदान

  1. सुनीता गोधा – मंदसौर जिले के शासकीय हाई स्कूल, खजूरिया सारंग में शिक्षिका सुनीता गोधा को उनकी शिक्षा के प्रति प्रतिबद्धता के लिए सम्मानित किया गया। उन्होंने छात्रों के लिए एक सकारात्मक और प्रेरणादायक शैक्षिक माहौल तैयार किया, और विशेष जरूरतों वाले तथा आर्थिक रूप से कमजोर छात्रों के नामांकन पर ध्यान केंद्रित किया। उनकी पहल ने छात्रों की उपस्थिति को बढ़ाया और शिक्षा को सबके लिए सुलभ बनाया।
  2. माधव प्रसाद पटेल – दमोह जिले के एक स्कूल में विज्ञान शिक्षक माधव प्रसाद पटेल को उनके द्वारा शुरू की गई ‘साइंस वॉल’ और ‘मोबाइल लाइब्रेरी’ जैसी नवीन पहल के लिए सराहा गया। उनकी ‘खेत पाठशाला’ पहल ने छात्रों को कक्षा से बाहर जाकर व्यावहारिक ज्ञान प्राप्त करने का अवसर प्रदान किया।
  3. सुनीता गुप्ता – डिंडोरी जिले की गणित की शिक्षिका सुनीता गुप्ता ने गणित को सरल और रोचक बनाने के लिए डिजिटल प्लेटफार्मों का उपयोग किया। उन्होंने दीक्षा और स्वयं पोर्टल्स के लिए ई-कंटेंट भी विकसित किया, जिससे गणित की शिक्षा को डिजिटल माध्यम से सुलभ बनाया गया।
  4. प्रो. नीलाभ तिवारी – भोपाल स्थित राष्ट्रीय संस्कृत संस्था के प्रोफेसर नीलाभ तिवारी ने संस्कृत शिक्षा में महत्वपूर्ण योगदान दिया और शिक्षा नीति 2020 में उनका विशेष योगदान रहा। उन्होंने 34 पुस्तकों का संपादन किया और भारतीय ज्ञान परंपरा के पाठ्यक्रम विकास में भी सहयोग किया।
  5. प्रो. कपिल आहूजा – आईआईटी इंदौर के प्रोफेसर कपिल आहूजा ने कंप्यूटर साइंस और इंजीनियरिंग में नए शैक्षणिक कार्यक्रम शुरू किए और शिक्षा के क्षेत्र में नवाचार किए। उन्हें आईआईटी इंदौर द्वारा 4 बार सर्वश्रेष्ठ शिक्षक का पुरस्कार भी मिल चुका है।
  6. प्रेमलता राहंगडाले – भोपाल के संभागीय आईटीआई की शिक्षिका प्रेमलता राहंगडाले ने दृष्टिबाधित छात्रों को कंप्यूटर स्किल्स सिखाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनकी पहल ने दृष्टिबाधित छात्रों के लिए शिक्षा को अधिक सुलभ और व्यावहारिक बनाया।
  7. प्रशांत दीक्षित – कौशल विकास एवं उद्यमशीलता विभाग के प्रशांत दीक्षित ने मैकेनिक डीजल ट्रेड के लिए ई-कंटेंट और ऑटोमोटिव लैब के विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया। उनके कार्य ने व्यावसायिक शिक्षा में नवाचार और सुधार को बढ़ावा दिया।

पुरस्कार की सामग्री

समारोह में सम्मानित शिक्षकों को प्रशस्ति पत्र, 50,000 रुपये का नकद पुरस्कार और एक रजत पदक प्रदान किया गया। इस पुरस्कार ने उनके उत्कृष्ट योगदान और समर्पण को मान्यता दी और अन्य शिक्षकों के लिए एक प्रेरणादायक उदाहरण प्रस्तुत किया।

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