रिपोर्ट – सारिका गुप्ता
कानपुर – भीषण गर्मी से इंसान और बेजुबान न सिर्फ परेशान है बल्कि बढ़ रहे तापमान से हैरान भी है। धधक रहे सूर्य देवता को शांत करने और इंद्र देवता को मनाने के लिए आज भी सालों पुरानी पानी मांगने की प्रथा जिंदा है।
भीषण गर्मी में बचाव के लिए विलुप्त होती जा रही ये प्रथा
आपको बता दें कि भीषण गर्मी में बचाव के लिए विलुप्त होती जा रही इस प्रथा को देखकर आप न सिर्फ चौंक जाएंगे बल्कि आपके रोंगटे भी खड़े हो जायेंगे। जो कि तपती जलती जमीन पर लोग बिना कपड़ो के गोल-गोल लेटते है फिर गाना गा कर लोगों से पानी मांगते है और भगवान से राहत देने की प्रार्थना भी करते हैं।
आज भी गांवो में सूखा पड़ने पर देखी जा सकती ये प्रथा
सालो पुरानी यह मान्यता है जो गांवो में आज भी सूखा पड़ने पर देखी जा सकती है लेकिन इस दहकती गर्मी में घर-घर पानी मांगने की प्रथा शहर के क्षेत्र में भी दिखाई देने लगी है। बढ रही गर्मी में हर कोई हवा, पेड़ की छाव के साथ घरों में रहने को मजबूर है और कुछ ही देर में पसीने से लथपथ भी हो जाते है। वहीं इस प्रथा को करने वाले लोगों को भी सलाम है इस गर्मी में बिना कपड़ो के जलती जमीन पर रेंगते है और धन्य हैं यह प्रथा भी जिसमें लोगो को गर्मी से राहत पहुंचाने के लिए देवताओं से प्रार्थना की जाती है।