केंद्रीय गृह मंत्री के आतंकवाद विरोधी सम्मेलन की आज से शुरूआत, देश की सुरक्षा को और मजबूत करने की दिशा पर होगी चर्चा

KNEWS DESK, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की अध्यक्षता में गुरुवार से दो दिवसीय राष्ट्रीय आतंकवाद विरोधी सम्मेलन की शुरुआत होगी। यह सम्मेलन राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) द्वारा आयोजित किया जा रहा है, जिसमें भारत की सुरक्षा ढांचे को मजबूत करने और आतंकवाद से निपटने के लिए विभिन्न एजेंसियों, विभागों और विशेषज्ञों के बीच सहयोग बढ़ाने पर जोर दिया जाएगा।

आतंकवाद को जड़ से खत्म करने की जरूरत', एजेंसियों से गृह मंत्री अमित शाह की  सख्त कार्रवाई की अपील - Amit Shah says We have to destroy not only  terrorism but its

इस सम्मेलन में देशभर के राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी, केंद्रीय आतंकवाद-रोधी एजेंसियों के अधिकारी, कानून, फोरेंसिक और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र के विशेषज्ञ हिस्सा लेंगे। साथ ही आतंकवाद से निपटने के लिए अंतरराष्ट्रीय सहयोग, उभरती प्रौद्योगिकियों और कानूनी दृष्टिकोणों पर भी चर्चा की जाएगी। वहीं गृह मंत्री अमित शाह ने सम्मेलन के उद्घाटन से पहले कहा कि मोदी सरकार आतंकवाद के खिलाफ अपनी “शून्य सहनशीलता” की नीति के तहत आतंक-मुक्त भारत बनाने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने यह भी कहा कि इस सम्मेलन का उद्देश्य विभिन्न केंद्रीय और राज्य एजेंसियों के बीच समन्वय को बढ़ाना और भविष्य की आतंकवाद विरोधी रणनीतियों को और मजबूत करना है। शाह ने आगे कहा कि,”यह सम्मेलन आतंकवाद के खतरों से निपटने के लिए सरकार की समग्र दृष्टिकोण को साकार करेगा। यह विभिन्न हितधारकों के बीच तालमेल और समन्वय स्थापित करेगा ताकि आतंकवाद के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई की जा सके।”

इस सम्मेलन का एक महत्वपूर्ण पहलू यह है कि इसमें आठ देशों के प्रतिनिधि भी भाग लेंगे। इसमें अंतरराष्ट्रीय कानूनी सहयोग, आतंकवाद के वित्तपोषण के मुद्दे, और आतंकवाद के खिलाफ वैश्विक प्रयासों की साझा रणनीतियों पर विचार-विमर्श किया जाएगा। इसके साथ ही, आतंकवाद के पारिस्थितिकी तंत्र को समाप्त करने के लिए भारत की आतंकवाद-रोधी एजेंसियों द्वारा अपनाई गई रणनीतियों और उनकी चुनौतियों पर भी चर्चा होगी। गृह मंत्री ने यह भी बताया कि सम्मेलन में उभरती प्रौद्योगिकियों का प्रयोग, जैसे कि साइबर सुरक्षा और एआई, आतंकवाद से निपटने में कैसे सहायक हो सकते हैं, इस पर भी महत्वपूर्ण विचार-विमर्श किया जाएगा। इसके अलावा, आतंकवाद के खिलाफ ठोस रणनीतियाँ और भविष्य की नीति निर्माण के लिए महत्वपूर्ण इनपुट भी इस सम्मेलन में प्रस्तुत किए जाएंगे।

 

 

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